रोग से बचाव हनुमान प्रयोग मंत्र
जै जै गुणवन्ती वीर हनुमान ।
रोग मिटे और खिले खिलावा ।
कारज पूरण करे पवन सुत ।
जो ना करे तो माँ अंजनी की दुहाई ।
सबद साचा पिण्ड काचा पुरो मंत्र ईश्वरो वाचा ॥
इसके बाद उस पानी को रोगी को पिला दे तथा लाल चिरमी के टुकडो को उसके चारो ओर घुमाकर दक्षिण दिशा की ओर फेक दे । ऐसा करने पर रोगी को तुरन्त आराम अनभव होता है ।किसी को भूत-प्रेत बाधा हो या उसे मिरगी आ रही हो या रात को बडबडा रहा हो अथवा उसे कोई ऐसी बिमारी हो जो समझ मे नही आ रही है तो इस प्रयोग को अवश्य ही करे । यह छोटा सा प्रयोग है
परन्तु इसका असर तुरन्त एंव अचूक होता है ।