Divyayogashop Blog

 February 28, 2017 

होलिका के दिन मनोकामना पूर्ण करने के लिये क्या करे?

होली का त्योहार हमारे देश मे धूमधाम से मनाया जाता है... यह ठंड के मौसम का आखिरी दिन माना जाता है... जिसे लोग अपनी अपनी परंपराओ के अनुसार मनाते है... लेकिन तंत्र मे होली के दिन का विशेष महत्व होता है... माता होलिका कहती है कि आप अपनी सभी बुराईया मुझे दे दो जिससे कि मै उसे भस्म कर सकू.... इसलिये आपके घर मे यंत्र खराब हो गये हो या माला खंडित हो गयी हो या कोई भी पूजा का सामान खराब हो गया हो तो उसे होलिका मे डाल दे...इसदिन को अगर सही तरह से उपयोग मे लाया जाय तो ब्यक्ति की हर तरह की मनोकामना पूर्ण होती है... नीचे कुछ उपाय दे रहा हू...

See what to do on holi

  • बिमारी... घर मे कोई ब्यक्ति बिमार है तो यह उपाय करे. एक नारियल के साथ एक नीम के पत्ते को लेकर बिमार ब्यक्ति के चारो तरफ एंटीक्लॉक वाईस या घडी की उल्टी दिशा की तरफ ११ बार घुमाये और होलिका मे डाल दे...
  • आर्थिक संकट....अगर आप आर्थिक संकट से गुजर रहे हो तो जंग लगा हुआ लोहा लेकर अपने चारो तरफ एंटीक्लॉक वाइस २१ बार घुमाये और होलिका मे डाल दे......
  • पति-पत्नी मे मन-मुटाव.... पति-पत्नी मे मन-मुटाव हो और आपस मे बात नही कर रहे हो तो पति या पत्नी किसी मोची जो जूता-चप्पल सीते है, के पास से ७ कीले ले आये और अपने ऊपर ११ बार व अपने पार्टनर के फोटो के ऊपर ११ बार घुमाकर होलिका मे डाल दे......
  • क्लेश या अशांती.... परिवार मे क्लेश या अशांती है तो एक नारियल लेकर परिवार के सभी सदस्यो के ऊपर ११-११ बार एंटीक्लॉक वाइस घुमाये और होलिका मे डाल दे,,,,,,
  • मन पसंद साथी की प्राप्ती के लिये... एक नारियल के साथ गुलाब का फूल ले ले और अपने ह्रदय के पास नारियल और गुलाब को हाथ से पकड कर रखे और अपने मन-पसंद साथी के लिये मनोकामना करे... और होलिका मे डाल दे,,,,,,
  • कर्ज मुक्ति के लिये... कमल का फूल या कमल का एक बीज हाथ मे ले और २१ बार अपने ऊपर उतार कर होलिका मे डाल दे....
  • शिक्षा के लिये... ११ तुलसी के पत्ते माता सरस्वती के चित्र के पास रखे या माता सरस्वती की मुर्ती के पास रखे और ११ "ॐ ऐं सरस्वतेय नमः" का जाप करे... और होलिका मे डाल दे....
  • बच्चे की नजर उतारने के लिये... एक नीम की पत्ती या मोर पंख लेकर बच्चे के ऊपर ११ बार एंटीक्लॉक वाइस घुमाये और होलिका मे डाल दे....
  • दुश्मनो द्वारा तंत्र के प्रभाव से बचने के लिये... एक नारियल के साथ ३ लौंग ले और अपने ऊपर ११ बार एंटीक्लॉक वाइस घुमाये या परिवार के जिस सदस्य के ऊपर तन्त्र का प्रभाव है, उनके ऊपर ११ बार घुमाये और होलिका मे डाल दे...
  • दुकान को नजर से बचाने के लिये... २ नारियल, २ लाल मिर्च, ४ लौंग, २ लाल कपडे लेकर दो पोटली बनाये यानी एक लाल कपडे मे एक नारियल, १ लाल मिर्च, २ लौंग लेकर बांध ले,,,, इस तरह से दो पोटली बन जायेगी उनमे से एक पोटली लेकर अपने ऊपर , ऑफिर की तिजोरी के ऊपर, अलमारी के ऊपर, गल्ले के ऊपर ११-११ बार एंटीक्लॉक वाइस घुमा ले.. और होलिका मे डाल दे...और दूसरी पोटली को दुकान के दरवाजे पर बीच मे या कोने पर लटका दे.
  • विवाह मे अडचने आ रही हो तो... एक नारियल लेकर के साथ एक तुलसी का पत्ता व एक गुलाब का फूल लेकर अपनी मनोकामना अपने मन मे कहे और होलिका मे डाल दे...

इसके अलावा जो साधना के क्षेत्र मे है, उन्हे कोई भी तंत्र साधना अवश्य करनी चाहिये क्योकि इस दिन की गयी साधना, दिक्षा मे सफलता का प्रतिशत बहुत ही ज्यादा होता है.... याद रखे होली के दिन को गवाये नही...आशा है ये उपाय जो मैने बताये है उसको अपनाकर लाभ उठायेगे.

देखे होली मे क्या करे!

 February 15, 2017 

त्राटक के नियम

योग मे षटकर्म जैसे नेती- धौती-नौली- वस्ती- कपालभाति और धारणा होते है.. जिसमे नेती- धौती-नौली- वस्ती- कपालभाति ये ५ क्रियाये शारीरिक शुद्धीकरण के लिये माने जाते है... और छठवी क्रिया धारणा जिसे त्राटक भी कहते है ये मानसिक शुद्धीकरण के लिये मानी जाती है...

त्राटक का अर्थ है कि बिना पलक झपकाये एकटक किसी वस्तु- चित्र को देखते रहना.

Tratak Rules

त्राटक २ तरह के माने जाते है.

  • बाह्य त्राटक (बाह्य त्राटक जैसे कि बाहर की कोई भी वस्तु, चित्र पर त्राटक करना)
  • अंतर त्राटक (अंतर त्राटक यानी किसी वस्तु - चित्र को अपने ध्यान मे लाकर त्राटक करना)

त्राटक के नियम

अगर आप त्राटक का अभ्यास करना चाहते तो कुछ नियम का पालन अवश्य करे. जैसे...

  • अघिक तेल, मिर्च, मसाले, खटाई, मांस, धूम्रपान, मद्यपान कम करे....
  • सुबह का अभ्यास सबसे अच्छा माना जाता है....
  • त्राटक का अभ्यास स्त्री-पुरुष कोई भी कर सकता है....
  • त्राटक का संबंध किसी जाति, धर्म, से नही है...
  • १८ वर्ष के ऊपर कोई भी ब्यक्ति बाह्य त्राटक का अभ्यास कर सकता है...
  • १२ वर्ष से ७० वर्ष तक कोई भी अंतर त्राटक कर सकता है...
  • त्राटक करने के लिये आपका कमरा शोरगुल से दूर शांत होना चाहिये...
  • कमरे मे मक्खी, मच्छर न हो इसका ध्यान रखे...
  • कमरे का वातावरण सुगंधित बनाने के लिये इत्र का उपयोग करे...
  • त्राटक का अभ्यास कुर्सी या जमीन पर आसन बिछाकर करे...
  • बिस्तर पर भी बैठकर अभ्यास कर सकते है लेकिन गुरु, देवी-देवताओ के चित्र पर त्राटक करना हो तो जमीन पर या कुर्सी पर बैठ कर करे....
  • किसी त्राटक के अभ्यास को बीच मे बिल्कुल न छोडे... त्राटक के अभ्यास को १० मिनट के ऊपर कभी न ले जाय....
  • किसी भी वस्तु पर त्राटक कर रहे हो तो उसका अभ्यास २१ दिन तक अवश्य करे.....
  • त्राटक करने बाद ऑखो मे पानी अवश्य मारे...
  • मिरर त्राटक करते समय कुछ डरावने अनुभव होते है क्योकि आपका ही चेहरा आईने मे विकृत रूप से दिखाई देता है, इसलिये डरने की जरूरत नही है....
  • मिरर त्राटक मे स्त्री अपने प्रतिबिम्ब की बाई आख मे देखकर त्राटक का अभ्यास करे,,,
  • और पुरुष अपने प्रतिबिम्ब की दाहिनी आख मे देखकर त्राटक करे... १० मिनट के ऊपर त्राटक करने पर आखो मे नुकसान होगा,...
  • आखो की रोशनी धुंधली हो जायेगी.. तथा ज्यादा देर तक त्राटक करने से गर्मियो मे ब्यक्ति को २-२ दिखाई पड सकते है..
  • इसलिये जोश मे ज्यादा देर तक यानी ६ से १० मिनट के ऊपर अभ्यास न करे....
  • अगर आपके आखो मे नम्बर का चश्मा लगा हुआ है तो चश्मा लगाकर ही अभ्यास करे...
  • हमेशा किसी योग्य जानकार के मार्ग दर्शन मे ही अभ्यास करे...
  • याद रखे हमे त्राटक से बहुत ही लाभ मिलता है लेकिन धीरे धीरे व नियमित अभ्यास करने पर ही....
  • जल्दबाजी मे आखो पर दबाव न डाले..

अंत मै इतना ही कहना चाहुंगा कि त्राटक का अभ्यास कोई भी कर सकता है. इसमे कोई मन्त्र जपने की जरूरत नही है...इसके अनगिनत लाभ मिलते है.. जरूरत है संयम, विश्वास और नियमित अभ्यास की... आशा है कि इस त्राटक के नियम का पालन करके आप पने जीवन सफल होगे.

Rules of Tratak

 February 13, 2017 

शिव रात्री के दिन लाभ उठाये

See what to do on maha shivaratri

हिंदू धर्म मे महाशिवरात्रि एक प्रमुख त्योहार माना जाता है। हिंदू कैलेंडर के अनुसार हर महीना कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी को छोटी शिवरात्रि आती है... और फाल्गुन माह की कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी को महा शिवरात्री आती है... यह दिन कभी फरवरी तो कभी मार्च महीने मे आता है... इस महा शिवरात्रि के दिन ही भगवान शिव-पार्वती की शादी हुयी थी...इस दिन श्रद्धालु पूरी रात जागकर भगवान भोलेनाथ की पूजा- साधना, आराधना तथा भजन मे लगे रहते हैं। कुछ लोग पूरे दिन और रात उपवास भी करते हैं। शिव लिंग को पानी या गंगा जल और बेलपत्र चढ़ाने के बाद ही वे अपना उपवास तोड़ते हैं।

महिलाओं के लिए शिवरात्रि का विशेष महत्व है। अविवाहित महिलाएं भगवान शिव से प्रार्थना करती हैं कि उन्हें उनके जैसा ही पति मिले। वहीं विवाहित महिलाएं अपने पति और परिवार के लिए मंगल कामना करती हैं। शिवरात्रि के साथ कई पौराणिक कथाएं जुड़ी हुई हैं।

भगवान शिव को मन्त्र राज यानी मन्त्रो के रचयिता कहते है... इन्ही से मन्त्रो की उत्पत्ति हुयी है

अब जानते है कि महाशिवरात्रि के दिन क्या करे?

कुवारी कन्याये मन-पसंद वर की प्राप्ती के लिये आज के दिन शिव मन्दिर जाकर बेल पत्र चढाते हुये "ॐ नमः शिवाये" का ३२४ बार जाप करे. याद रखे "ॐ नमः शिवाय" का नही. ये मन्त्र माता पार्वती का है, इसलिये कुवारी कन्याओ की मनोकामना जल्दी पूरी होती है.

विद्यार्थियो के लियेः शिव मन्दिर जाकर भगवान शिव पर बेलपत्र चढाये और "ॐ नमः ॐ शिवाय" का ५१ बार जाप करे और मंदिर का ३ चक्कर लगाये. इससे उन्हे अध्यन मे आसानी होती है तथा विदेश मे अध्यन का योग प्रबल होता है.

  • कर्ज मुक्ति के लियेः ३ पंखुडियो वाले २१ बेलपत्र भगवान शिव को चढाये और "ॐ क्लीं पातु श्रीं रक्षा ॐ नमः" का ५४० मन्त्र यानी ५ माला जाप करे.
  • बच्चो की नजर बचाव के लियेः शिव मंदिर मे बेलपत्र चढाकर "ॐ अघोराय क्लीं ॐ शिवाय नमः" का जाप ३२४ बार या ३ माला जपे.
  • तंत्रबाधा से बचने के लियेः भगवान शिव को बेल पत्र चढाने के बाद वहा से चढाया हुआ एक बेलपत्र घर ले आये और उसे घर के मंदिर मे रखे. अब रात के १० बजे के बाद एक तांबे के लोटे मे पानी भरकर या गंगाजल भरकर बेल पत्र से "ॐ अघोरेश्वर क्लीं हुं नमः शिवाय" का जाप करते हुये अपने घर के चारो तरफ तथा अपने व अपने परिवार के ऊपर भी छिडकाव करे.
  • बिमारी जल्द ठीक होने के लियेः भगवान शिव के दर्शन के बाद वहा से ३ बेलपत्र लाकर "ॐ पाशुपतये हुं नमः शिवाय" ५४० बार या ५ माला जाप करे और बिमार ब्यक्ति के बिस्तर के नीचे सिर की तरफ रखे.
  • भौतिक सुख के लियेः भगवान शिव के दर्शन के बाद वहा से ३ बेल पत्र लेकर घर आये. और "ॐ केदारेश्वर क्लीं नमः शिवाय" ३२४ बार यानी ३ माला जाप करे और उस बेल पत्र को दुकान के गल्ले मे या तिजोरी मे रखे.
  • इस दिन पति-पत्नी को एक साथ मे जाकर शिव दर्शन करना चाहिये जिससे कि उनका दांपत्य जीवन सुखी रहे.
  • इसके अलावा इस दिन दिक्षा अवश्य लेनी चाहिये यानी कोई न कोई साधना का संकल्प अवश्य करना चाहिये. तथा इस दिन की गयी पूजा १० गुना ज्यादा फल देती है.